Madhumay pyali Kavita (मधुमय प्याली कविता)- सुभद्रा कुमारी चौहान
Madhumay pyali Kavita, ‘मधुमय प्याली’ सुभद्रा कुमारी चौहान (subhadra kumari chauhan) द्वारा लिखित एक छोटी सी कविता है. रीती होती जाती थी जीवन की मधुमय प्याली। फीकी पड़ती जाती थी मेरे यौवन की लाली।। हँस-हँस कर यहाँ निराशा थी अपने खेल दिखाती। धुंधली रेखा आशा की पैरों से मसल मिटाती।। Madhumay pyali Kavita युग-युग-सी बीत … Read more