Teri sudhi bin Kavita (तेरी सुधि बिन क्षण क्षण सूना कविता)- महादेवी वर्मा
Teri sudhi bin Kavita, तेरी सुधि बिन क्षण क्षण सूना, महादेवी वर्मा (Mahadevi Verma) द्वारा लिखित कविता है. तेरी सुधि बिन क्षण क्षण सूना। कम्पित कम्पित, पुलकित पुलकित, परछाईं मेरी से चित्रित, रहने दो रज का मंजु मुकुर, इस बिन श्रृंगार-सदन सूना! तेरी सुधि बिन क्षण क्षण सूना। सपने और स्मित, जिसमें अंकित, सुख दुख … Read more