Sanskritik virasat, Cultural heritage in Hindi
विरासत की संकल्पना
हमारी सांस्कृतिक विरासत या विरासत ऐसे तत्वों का द्योतक है जो भूतकाल से विरासत में प्राप्त हुए हैं. यह भूतकाल भूवैज्ञानिक काल या ऐतिहासिक काल भी हो सकता है.
विरासत शब्द विभिन्न देशों एवं संस्कृतियों में प्रचलित कुछ अवबोध के साथ साथ कुछ धारणाओं एवं वास्तविकताओं को भी दर्शाता है.
विरासत शब्द के अनेक तात्पर्य है जिनमें निम्नलिखित मुख्य है-
प्राकृतिक विरासत: प्राकृतिक विरासत में वनस्पति एवं जंतु, भू-विज्ञान, भू- दृश्य, एवं स्थलाकृति तथा अन्य प्राकृतिक संसाधनों की विरासतें शामिल होती है.
संस्कृतिक विरासत: सांस्कृतिक विरासत में किसी समाज या समूह की भौतिक शिल्प तथ्यों एवं अमूर्त विशेषताएं अर्थात मानव निर्मित विरासतों को शामिल किया जाता है.
औद्योगिक विरासत: औद्योगिक विरासत में औद्योगिक सांस्कृतिक स्मारक शामिल होते हैं
आभासी विरासत: आभासी विरासत सांस्कृतिक विरासत के साथ किए जाने वाले कार्यों से संबंधित है
sanskritik virasat
सांस्कृतिक विरासत
- यह किसी समूह या समाज का भौतिक शिल्प-तथ्य एवं अमूर्त गुण है जो पिछली पीढ़ी से हस्तगत हुआ है और वर्तमान में कायम है. इस विरासत को भावी पीढ़ियों के कल्याण हेतु सहेज कर रखा जाता है.
- सांस्कृतिक विरासत में 2 तत्व शामिल होते हैं- (i). स्पृश्य संस्कृति (ii).अमूर्त संस्कृति
- सांस्कृतिक विरासत अद्वितीय और गैर प्रतिस्थापनीय होती है. इसे सुरक्षित एवं संरक्षित रखने का उत्तरदायित्व
- वर्तमान पीढ़ी पर है
- छोटी वस्तुएं जैसे कलाकृतियां एवं सांस्कृतिक श्रेष्ठ कृतियों को म्यूजियम या कला दीर्घाओं में सुरक्षित रखा जाता है.
- यूनेस्को ने अनेक देशों की विरासत को भविष्य हेतु सुरक्षित रखने के लिए आवश्यक समर्थन दिया है.
- विरासतों को संरक्षित रखने के लिए वर्ष 1972 में यूनेस्को के आम सम्मेलन में विश्व सांस्कृतिक एवं प्राकृतिक विरासत के संरक्षण पर एक प्रस्ताव पारित किया गया था.
- प्रस्ताव का उद्देश्य प्राकृतिक और सांस्कृतिक दोनों प्रकार की विरासत ओं को परिभाषित करना था.
- भारत 1977 से इसका सक्रिय सदस्य रहा है तथा स्मारक और स्थलों पर अंतरराष्ट्रीय परिषद आई सी ओ एम ओ एस प्रकृति और प्राकृतिक संसाधनों के संरक्षण हेतु अंतरराष्ट्रीय संघ आईयूसीएन तथा संरक्षण सांस्कृतिक संपदा की बहाली के अध्ययन हेतु अंतरराष्ट्रीय केंद्र आई सी सी आर ओ एम के साथ सहयोग करता रहा है.
sanskritik virasat
यूनेस्को द्वारा घोषित भारतीय विश्व सांस्कृतिक विरासत स्थल
यूनेस्को द्वारा घोषित भारतीय विश्व सांस्कृतिक विरासत (sanskritik virasat) स्थल निम्न है:
विरासत | कहां स्थित है | शामिल होने का वर्ष |
अजंता की गुफाएं | औरंगाबाद, महाराष्ट्र | 1983 |
एलोरा की गुफाएं | औरंगाबाद, महाराष्ट्र | 1983 |
ताजमहल | आगरा, उत्तर प्रदेश | 1983 |
आगरा का किला | आगरा, उत्तर प्रदेश | 1983 |
कोणार्क का सूर्य मंदिर | पुरी, उड़ीसा | 1984 |
महाबलीपुरम का स्मारक समूह | कांचीपुरम, तमिलनाडु | 1984 |
गोवा के गिरजाघर एवं मठ | पणजी, गोवा | 1986 |
खजुराहो मंदिर | छतरपुर, मध्य प्रदेश | 1986 |
हंपी के स्मारक समूह | बेलारी, कर्नाटक | 1986 |
फतेहपुर सीकरी | उत्तर प्रदेश | 1986 |
चिरस्थाई चोलकालीन मंदिर, तंजौर का बृहदेश्वर मंदिर, गंगेकोंडचोलपुरम का बृहदेश्वर मंदिर, दारासुरम का ऐरावतेश्वर मंदिर | तमिलनाडु | 1987 |
पत्तडकल स्थित स्मारक समूह | कर्नाटक | 1987 |
एलिफेंटा की गुफाएं | महाराष्ट्र | 1987 |
सांची का बौद्ध स्तूप | रायसेन मध्य प्रदेश | 1989 |
हुमायूं का मकबरा | दिल्ली | 1993 |
कुतुबमीनार एवं इसके स्मारक | दिल्ली | 1993 |
दार्जिलिंग हिमालयन रेलवे | पश्चिम बंगाल | 1999 |
नीलगिरि माउंटेन रेलवे | तमिलनाडु | 2005 |
कालका शिमला रेलवे | हिमाचल प्रदेश | 2008 |
महाबोधि मंदिर परिसर | बोधगया बिहार | 2002 |
भीमबेटका गुफा | मध्यप्रदेश | 2003 |
चंपानेर पावागढ़ पुरातात्विक उद्यान | गुजरात | 2004 |
छत्रपति शिवाजी टर्मिनस/ विक्टोरिया टर्मिनस | महाराष्ट्र | 2004 |
लाल किला परिसर | दिल्ली | 2007 |
जंतर मंतर | जयपुर राजस्थान | 2010 |
राजस्थान की पहाड़ी किले (आमेर किला, चित्तौड़गढ़ किला, जैसलमेर किला, गागरोन किला, कुंभलगढ़ किला, रणथंभौर किला) | राजस्थान | 2013 |
रानी की बावड़ी | पाटन गुजरात | 2014 |
ग्रेट हिमालय राष्ट्रीय उद्यान | हिमाचल प्रदेश | 2014 |
चंडीगढ़ कैपिटल कॉन्प्लेक्स | चंडीगढ़ | 2016 |
कंचनजंगा पार्क | सिक्किम | 2016 |
नालंदा विश्वविद्यालय का पुरातात्विक स्थल | बिहार | 2016 |
अहमदाबाद शहर | गुजरात | 2017 |
यूनेस्को की अमूर्त विरासत की प्रतिनिधि सूची में शामिल भारतीय विरासते
विरासत | शामिल होने का वर्ष |
योग | 2016 |
जदियाला गुरु ( पंजाब) के परंपरागत ब्रास एवं तांबे की वस्तुओं का निर्माण करने वाले ठठेरों का जातीय समूह | 2014 |
मणिपुर संकीर्तन | 2013 |
लद्दाख के बौद्ध मठों में बुद्ध के उपदेशों का गायन | 2012 |
छऊ नृत्य | 2010 |
कालबेलिया नृत्य राजस्थान | 2010 |
मुदियेट्टू थिएटर केरल | 2010 |
नवरोज पर्व पारसी | 2009 |
गढ़वाल हिमालय का सम्मान थिएटर | 2009 |
कुटियाट्टम संस्कृत थिएटर केरल | 2008 |
राम लीला का परंपरागत मंचन | 2008 |
वैदिक मंत्रोचार परंपरा | 2008 |
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